उदयपुर में जघन्य हत्याकांड का पर्दाफाश: शिक्षक सहित 6 गिरफ्तार

  • हथियारों से लैस होकर रात के समय घात लगाकर कर दी थी युवक की हत्या

जयपुर 17 अगस्त। उदयपुर पुलिस ने एक बड़ी सफलता हासिल करते हुए एक सनसनीखेज हत्याकांड के मामले में 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिनमें एक सरकारी शिक्षक भी शामिल है। यह गिरफ्तारी महज चार दिनों में हुई है।
एसपी योगेश गोयल ने बताया कि यह मामला 12 अगस्त 2025 की रात का है, जब नवीन भगोरा नाम का युवक अपने दोस्त के साथ घर लौट रहा था। पाटिया थाना क्षेत्र के मालीफला पंचायत पूल के पास 10 से 15 हथियारबंद बदमाशों ने अचानक उनकी गाड़ी रोक ली। आरोपियों ने नवीन को बाहर खींचकर कुल्हाड़ी, रॉड और लाठियों से बेरहमी से पीट-पीटकर उसकी हत्या कर दी। इस जघन्य वारदात की रिपोर्ट नवीन के भाई सोमेश्वर भगोरा ने दर्ज कराई थी।
दुश्मनी ने ली दोस्त की जान
पुलिस की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि मृतक नवीन और गिरफ्तार किए गए सभी आरोपी एक ही गांव के रहने वाले थे और पहले दोस्त भी थे। लेकिन किसी पुरानी रंजिश के चलते आरोपियों ने नवीन से बदला लेने की ठानी। उन्होंने नवीन की हर गतिविधि पर नज़र रखी और घात लगाकर हमला करने की योजना बनाई। इसी योजना के तहत उन्होंने नवीन की हत्या कर दी।
विशेष टीम ने 4 दिन में किया खुलासा
मामले की गंभीरता को देखते हुए उदयपुर पुलिस अधीक्षक योगेश गोयल ने तुरंत एक विशेष जांच दल का गठन किया। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अंजना सुखवाल और वृताधिकारी राजीव राहर के मार्गदर्शन में पाटिया थानाधिकारी देवेंद्र सिंह राव ने अपनी टीम के साथ मिलकर काम शुरू किया। टीम ने आधुनिक तकनीक और खुफिया जानकारी का इस्तेमाल करते हुए सिर्फ चार दिनों के भीतर सभी छह आरोपियों की पहचान कर उन्हें खडकाया के जंगलों से गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान बालकृष्ण पुत्र अमृतलाल, शैलेश कुमार पुत्र जीवा, ब्रजेश पुत्र लक्ष्मण, लाल धर्मेन्द्र कुमार पुत्र थावरचन्द, गणेशलाल पुत्र अरजी और पेशे से शिक्षक जहेश पुत्र अमृतलाल निवासी मालीफला उखेड़ी थाना पाटिया के रूप में हुई है। इस सफलता के लिए पुलिस टीम की काफी सराहना हो रही है, और मामले में आगे की जांच जारी है।
यह सफल ऑपरेशन पाटिया पुलिस की एक अनुभवी और मेहनती टीम ने पूरा किया। इस टीम का नेतृत्व थानाधिकारी देवेन्द्र सिंह राव ने किया। टीम में उप-निरीक्षक वाहिद हुसैन, प्रभुलाल, मनीष कुमार, हेड कांस्टेबल बदाराम, राजेन्द्र प्रसाद, वालचंद, कांस्टेबल सोहन लाल, दिलीप कुमार, कैलाश, विरेन्द्र कुमार, पोपट लाल, रणजीत, रमेश कुमार, मनीष कुमार, ईश्वर लाल, घनश्याम सिंह, हितेश कुमार, महेन्द्र कुमार, महेन्द्र सिंह, अक्षय, डुगर सिंह, अंकित वसीटा, धनराज, दिनेश कुमार और साइबर सेल के कांस्टेबल लोकेश कुमार शामिल थे।
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